झारखंड विधानसभा चुनाव में छिटपुट घटनाओं के बीच पहले चरण के लिए 13 सीटों पर मतदान खत्म हो गया। शनिवार को वोटिंग के दौरान पलामू जिले में चैनपुर के कोसियारा गांव में बीजेपी और कांग्रेस के कार्यकर्ताओं के बीच झड़प का मामला देखने को मिला। घटना के वायरल विडियो में कांग्रेस प्रत्याशी केएन त्रिपाठी रिवॉल्वर लहराते नजर आए। वहीं एक अन्य घटना में नक्सलियों ने बिशुनपुर में एक पुल को उड़ा दिया।
हालांकि, इस घटना में किसी के हताहत होने की खबर नहीं है। डेप्युटी कमिश्नर शशि रंजन ने बताया कि हमले की वजह से मतदान प्रभावित नहीं हुआ। अपर पुलिस महानिदेशक और झारखंड चुनाव में सुरक्षा व्यवस्था के नोडल अधिकारी मुरारीलाल मीणा ने बताया कि हताश नक्सलियों ने मतदाताओं में भय पैदा करने के लिए बिशुनपुर के बानालाट और वीरानपुर के बीच जंगल में एक पुलिया के निकट यह विस्फोट किया। हालांकि इससे कोई नुकसान नहीं हुआ है।
बीजेपी और कांग्रेस समर्थकों के बीच झड़प
इधर, पलामू में चैनपुर के कोसियारा गांव में बीजेपी और कांग्रेस के समर्थकों के बीच झड़प हो गई। यहां कांग्रेस प्रत्याशी केएन त्रिपाठी ने बीजेपी प्रत्याशी आलोक चौरसिया और उनके समर्थकों पर बूथ लूटने का आरोप लगाया। सामने आए विडियो में डाल्टेनगंज से कांग्रेस प्रत्याशी केएन त्रिपाठी रिवॉल्वर लहराते नजर आ रहे हैं।
इस बीच चुनाव आयोग ने घटना का संज्ञान लिया है और जिला प्रशासन से इस संबंध में रिपोर्ट मांगी है। सूत्रों के मुताबिक, बीजेपी समर्थकों ने केएन त्रिपाठी को बूथ पर जाने से रोका, जिसके बाद दोनों पार्टियों के समर्थकों के बीच झड़प शुरू हो गई। बाद में कड़ी मशक्कत के बाद सुरक्षाकर्मियों ने मामला शांत कराया। चुनाव आयोग के मुताबिक, पहले चरण में कुल 62.87 प्रतिशत मतदान दर्ज किया गया।
189 उम्मीदवारों के भाग्य का फैसला
प्रदेश के 6 जिलों की 13 सीटों पर शनिवार सुबह 11 बजे तक कुल 27.41 प्रतिशत मतदान दर्ज किया गया था। इस दौरान चतरा (एससी) में 11.56%, गुमला (एसटी) में 12.70% , बिशुनपुर (एसटी) में 11.12%, लोहरदगा (एसटी) में 11.68%, मनिका (एसटी) में 13.62%, लातेहार (एससी) में 12.89%, पांकी में 9.20%, डाल्टेनगंज में 10.70%, विश्रामपुर में 9.50%, छत्तरपुर (एससी) में 10.80%, हुसैनाबाद में 9.70%, गढ़वा में 11.00% और भवनाथपुर में 10 प्रतिशत मतदान हुआ। चुनाव आयोग के अधिकारियों के अनुसार मतदान सुबह सात बजे शुरू हुआ और दोपहर तीन बजे तक चला।
झारखंड विधानसभा के पहले फेज में करीब 37,83,055 वोटर 189 उम्मीदवारों के भाग्य का फैसला कर रहे थे। पहले चरण के चुनाव को दलबदलुओं के इम्तिहान का फेज माना जा रहा है। इसमें कई ऐसे उम्मीदवारों की किस्मत दांव पर है, जिन्होंने या तो असंतुष्टि की वजह से या हवा का रुख भांपकर पार्टी बदल ली।
बीजेपी-विपक्ष दोनों के लिए चुनाव अहम
यह चुनाव बीजेपी और विपक्ष के लिए बेहद अहम है। एक और जहां बीजेपी सत्ता बरकरार रखने के लिए पूरा जोर लगा रही है, वहीं विपक्ष रघुबर सरकार को पटखनी देने के लिए पूरा जोर लगा रहा है। इस चरण में चुनाव लड़ रहे प्रमुख उम्मीदवारों में झारखंड के स्वास्थ्य मंत्री रामचंद्र चंद्रवंशी, कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष रामेश्वर उरांव और पूर्व मंत्री तथा भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) उम्मीदवार भानु प्रताप शाही हैं।
पहले फेज में इन सीटों पर वोटिंग
इस चरण में कुल 189 उम्मीदवार चुनाव मैदान में थे, जिनमें 174 पुरुष और 15 महिला उम्मीदवार थे। मतदान सुबह 7 बजे से लेकर दोपहर तीन बजे तक चला। पहले चरण में चतरा, बिशुनपुर, लातेहार, गुमला, लोहरदगा, पांकी, मनिका, विश्रामपुर, हुसैनाबाद, डालटनगंज, छतरपुर, भवनाथपुर, गढ़वा में मतदान हुआ।
भवनाथपुर सीट से सबसे ज्यादा कैंडिडेट
इस चरण में सबसे ज्यादा 28 उम्मीदवार भवनाथपुर सीट से चुनाव मैदान में थे, जबकि सबसे कम नौ प्रत्याशी चतरा सीट से चुनाव लड़ रहे थे। मुख्य निर्वाचन अधिकारी विनय कुमार चैबे ने बताया कि इनके अलावा गुमला (एससी) सीट से 12, बिशुनपुर (एसटी) सीट से 12, लोहरदगा (एसटी) सीट से 11, मनिका (एसटी) सीट के लिए 10, लातेहार (एससी) सीट के लिए 11, पांकी सीट के लिए 15, डाल्टेनगंज सीट के लिए 15, विश्रामपुर सीट के लिए 19, छतरपुर (एससी) सीट के लिए 12, हुसैनाबाद सीट के लिए 19 और गढ़वा सीट के लिए 16 उम्मीदवार चुनाव मैदान में थे।
दलबदलुओं का इम्तिहान
झारखंड विधानसभा के पहले चरण के चुनाव में दलबदलुओं की परीक्षा है। इनमें सबसे दिलचस्प सीट लोहरदगा की है, जहां से कांग्रेस के पूर्व प्रदेश अध्यक्ष सुखदेव भगत मैदान में थे। वह इस बार बीजेपी के टिकट पर चुनाव लड़ रहे थे। उनके खिलाफ कांग्रेस के प्रदेश प्रमुख आईपीएस ऑफिसर रामेश्वर ओरांव दावा ठोक रहे थे। वहीं छतरपुर में सिटिंग एमएलए राधाकृष्ण किशोर को बीजेपी ने टिकट नहीं दिया तो वह एजेएसयू के टिकट पर चुनावी मैदान में थे।
साल 2014 में भवनाथपुर विधानसभा सीट से किसी स्थानीय दल से चुनाव लड़ने वाले भानुप्रताप शाही अब बीजेपी में शामिल हो गए हैं। वह इसी सीट से उम्मीदवार थे। पांच साल पहले उन्होंने जिस बीजेपी प्रत्याशी (अनंत प्रताप देव) को चुनाव हराया था, वह निर्दलीय चुनाव मैदान में था। हुसैनाबाद के विधायक शिवपूजन मेहता बहुजन समाज पार्टी छोड़कर इस बार एजेएसयू के साथ हैं।
जेएमएम के आलोक चौरसिया डाल्टेनगंज से इस बार बीजेपी के प्रत्याशी हैं। चौरसिया साल 2014 में जेएमएम के टिकट पर चुनाव जीते थे लेकिन बाद में उन्होंने बीजेपी जॉइन कर ली और रघुबर दास सरकार को समर्थन दिया था। चतरा से बीजेपी ने जनार्दन पासवान को टिकट दिया है। पासवान आरजेडी छोड़कर बीजेपी में शामिल हुए थे। वहीं, साल 2014 में जेवीएम के टिकट पर चुनाव लड़ने वाले सत्यानंद भोक्ता इस बार आरजेडी के उम्मीदवार हैं।
31 फीसदी उम्मीदवार करोड़पति
पहले चरण की 13 विधानसभा सीटों पर चुनाव लड़ने वाले तकरीबन 31 फीसदी उम्मीदवार करोड़पति हैं। इनमें सबसे ज्यादा बीजेपी के उम्मीदवार शामिल हैं। आंकड़ों के मुताबिक, बीजेपी के 12 प्रत्याशियों में 9 करोड़पति हैं, जबकि जेएमएम के 13 उम्मीदवारों में से 7 करोड़पति हैं। इसके अलावा जेडीयू के 12 में से 5, बीएसपी के 12 में से 4, कांग्रेस के 6 में से 5, जेएमएम के 4 में से 3, एजेएसयू के सभी 3 उम्मीदवारों के पास करोड़ों की संपत्ति है।
बता दें कि झारखंड विधानसभा चुनाव में पांच चरण में मतदान होगा, जो 30 नवंबर से 20 दिसंबर तक चलेंगे। वहीं नतीजों की घोषणा 23 दिसंबर को की जाएगी।
Source: National